बचपन की दोस्ती,
मे भी कुछ खास था,
उन यादो मे भी कुछ एहसास था।
कही वो मासूम चेहरे,
कही दिल खुश करने वाली हसी थी,
कही वो स्कूल के झूले,
कही वो खेल के मैदान भी कुछ खास थे।
बचपन- - - - - - - - - - खास था
उन यादो- - - - - - -- - - - - एहसास था।
हज़ारो दोस्तो का साथ था,
बहुत सारे अध्यापको का प्यार था,
उन यादो मे भी कुछ खास था।
वो साथ बैठ खाना खाने का एहसास था,
जिसमे दोस्तो के पकवानों का इंतज़ार था,
उन लम्हों मे भी कुछ खास था,
जिन लम्हों में उन सबका साथ था।
बचपन- - - - - - -- - - खास था,
उन यादो- - - -- - -- एहसास था।
वो पानी के बहाने,स्कूल का चक्कर ,
लगाने का चाव भी कुछ खास था,
वो हाथ पकड़ घूमने का,
वो प्यार भी कुछ खास था।
बचपन- - - - - - - - - - खास था,
उन यादो- - - - - - - - एहसास था।
कुछ दीवारों ने हमे उनसे अलग कर दिया ,
न चाहते हुए भी हमे उनसे दूर कर दिया,
हमारी ज़िंदगी मे एक नूर था,
वो नही जानते हमारी ज़िंदगी का वही एक कोहीनूर था।
बचपन- - - - - - - - - - खास था,
उन यादो- - - - - - - - - एहसास था।
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