बेटी के रूप मे पैदा होना, सबसे बड़ा गुनाह बन गया, मेरे जिस्म को चील-कौयो की तरह, नोंच-नोंच कर खाना, हर रोज का काम बन गया। लक्ष्मी,दुर्गा न जाने कितने नाम देकर, उस परमात्मा को भी कटघरे में ला , खड़ा कर दिया तूने। मेरे जिस्म में जहर के इंजेक्शन लगा, अधमरा कर दिया तूने, अपनी हवस को पूरा करने के लिए, मुझे अपनी हवस का शिकार बना लिया तूने। ट्विंकल,निर्भया से लेकर, परमात्मा का दूसरा रूप डॉ प्रियंका, को भी न छोड़ा तूने। मनीषा के साथ दरिंदगी कर, उस दर्द को ताजा कर दिया तूने। हैवानियत की हद होती हैं, उस मासूम की रीढ़ की हड्डी,पैर तोड़, उसकी जिंदगी का सर्वनाश कर दिया तूने। एक ने नही उन चारों ने अपनी हवस का शिकार बनाया, हर बार चीखती-चिलाती रही बचाने को कोई नही आया, मेरी आवाज को उन खेतों मे हमेशा के लिए बंद कर दिया उन्होंने। सरकार ,कानून,जानी मानी हस्तियां जानी मानी हस्तियां अपने दिखावे मे लग गई शोक जता हाथरस हत्याकाण्ड पर अपने आप में ही महान बन गई। ये दिखावा,कैंडल मार्च कुछ दिन तक चलेगा, एक बेटी की आवाज को कभी इंसाफ नही मिलेगा। इस दरिंदगी ने रूह को झकझोर कर दिय...
Romantic all poems are related to love ,affection,pain etc.In this blog share all people condition,internal feelings.